ओंकारेश्वर में जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही की भेंट चढ़ रहे हैं प्रसादम योजना के तहत किए जाने वाले करोड़ों के विकास कार्य

ओकारेश्वर -- तीर्थ नगरी ओकारेश्वर में मध्य प्रदेश पर्यटन विभाग के माध्यम से प्रसादम योजना के तहत करोड़ों रुपए के कार्य किए जा रहे हैं जो शासन के नुमाइंदे जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही की भेंट चढ़ रहे हैं आम जनमानस के गाढ़ी कमाई के रुपयों का दुरुपयोग तीर्थ नगरी ओकारेश्वर में देखा जा सकता है ओकारेश्वर का प्रमुख जेपी चौक चौराहा विभिन्न विभिन्न मदों में सरकारे बदलती गई विकास के नाम पर इसी चौराहे की बात करें तो करोड़ों रुपए बर्बाद कर दिए गए उसके बावजूद भी अव्यवस्था चरम पर है जिसको लेकर तीर्थ नगरी ओकारेश्वर की छवि खराब हो रही है किंतु जिम्मेदार अधिकारी कुंभकरण निद्रा में सोए आंखें बंद करें बैठे हुए प्रतिवर्ष बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं का आगमन होता है पर वह के साथ शनिवार एवं रविवार आने वाले श्रद्धालु के लिए वाहन पार्किंग की सुविधा नगर परिषद द्वारा नहीं दिए जाने के कारण संपूर्ण नगर में जहां मनचाहे वाहनों को लगाकर यातायात के नियमों की धज्जियां उड़ाई जा रही है नगर परिषद राजस्व एवं पुलिस विभाग एक दूसरे पर पल्ला झाड़ कर अपने कर्तव्य की इतिश्री कर रहे हैं ओकारेश्वर के प्रमुख जेपी चौक चौराहे पर दो पहिया एवं चार पहिया वाहन वेरीकट नहीं लगने के कारण विवाद का कारण बने हुए हैं नगर परिषद द्वारा सुव्यवस्थित दुकानदारों को जगह नहीं दिए जाने के कारण रोड पर अव्यवस्थित दुकाने लगाकर अपने परिवार का भरण पोषण कर रही है किंतु सत्ता पक्ष और विपक्ष में भी इन गरीबों के लिए कोई सुव्यवस्थित व्यवस्था नगर परिषद द्वारा गुमटीया बनाकर नहीं दी गई परिणाम यह है कि अव्यवस्था चरम पर होकर तीर्थ नगरी की छवि खराब कर रही है करोड़ों रुपए के किए जा रहे हैं विकास कार्य कहीं काम नहीं आ रहे समय-समय पर होने वाली प्रशासन की बैठकों में कागजी खानापूर्ति कर प्रस्ताव लिए जाते किंतु धरातल पर स्थिति बद से बदतर है प्रमुख घाटों पर गंदगी और व्यवस्था के साथ महिलाओं को कपड़े बदलने की सुविधा नहीं है



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