ठेकेदार की लापरवाही भुगत रहे ग्रमीण, यह कैसा विकास ? ग्रामीणों को हर रोज करनी पड़ती है नाली की साफ सफाई जिम्मेदार सोए कुम्भकर्ण की नींद पानी की निकासी की व्यवस्था नहीं सड़क पर कीचड़ से निकलना तक मुश्किल गांव की सूरत बनाना तो दूर , जगह जगह पसरी गंदगी

आशीष यादव ,धार 

जहां एक और सरकार विकास के वादे जनता के बीच पहुँचाने की बाते करती है तो वही दूसरी जमीनी स्तर पर विकास से कहीं गांव का कोसों दूर का नाता है ऐसा ही मामला जिला मुख्यालय से महज 14 किलोमीटर दूर सकतली का है जहां 5 साल पहले प्रधानमंत्री सड़क निर्माण द्वारा सड़क का तो निर्माण कर दिया गया मगर नाली नहीं निर्माण करने से ग्रामीणों व राहगीरों को कीचड़ का सामना करना पड़ रहा है वहीं कहीं बार शिकायत करने के बाद भी प्रधानमंत्री सड़क के जिम्मेदार अधिकारियों ने इस ओर झाक कर भी नहीं देखा वही एक बार पंचायत द्वारा नाली निर्माण कराया गया मगर रोड नीची होने के कारण पानी भर जाने से उस परेशानी को दूर नही कर पाए वहीं कहीं बार शिकायत करने के बाद भी जिम्मेदार विभाग के जिम्मेदार अधिकारी आज भी कुंभकरण की नींद सोए हैं व पचायत ने भी पत्र लिखा मगर विभाग के जिम्मेदार अधिकारी यह कहते हुए पल्ला झाड़ दिया के रोड निर्माण हमारा था मगर नाली निर्माण करने का काम हमारा नहीं है मगर जब इस मामले में हमने जानकारी निकालें तो पता चला तो जो विभाग रोड बनाता है वही विभाग नाली निर्माण भी करता है मगर ठेकेदार द्वारा पैसे बचाने के चक्कर में नाली निर्माण नहीं किया गया जिला मुख्यालय के पास बसे सकतली गांव की हालत यह तो अंदर गांव की हालत क्या होगी इससे अंदाजा लगाया जा सकता है तकरीबन पांच साल पहले सड़क निर्माण के साथ आबादी क्षेत्र की नालियों का लेवल गांव के मुख्य रास्तों से नीची कर दि गई थी। जिससे गांव की मुख्यसडक पर पानी की निकासी नही हो पा रही है। बरसात में ही गांव की सूरत बदहाल हो जाती है। वही गर्मी में भी पानी जमा हो जाता है ग्राम पंचायत के समस्या को दूर करने के लिए एक 2 दिन में नाली साफ करवाती रहती है।


वही गाँव के पप्पू लववंशी का कहना है कि पांच साल पहले सड़क निर्माण के साथ गांव के पानी की निकासी नाले तक करने के लिए प्रधानमंत्री सड़क विभाग द्वारा नालियों का निर्माण नही करवाया। लेकिन गांव के मुख्यमार्ग जमीनी स्तर से नालियों का निर्माण सही नही किया गया । अब हालात यह हो रहे है कि सड़क पर पानी भरा हुआ है। गंदगी से सराबोर सड़क में मच्छरों की आवक भी होने लगीं है जिससे लोगों की नींद हराम हो गई है। नालियों द्वारा पुराने नाले तक गहरीकरण कर अधूरे निर्माण को प्रशासन द्वारा शीघ्र पूरा कराना चाहिए जिससे गांव में पानी की समुचित निकासी की व्यवस्था सुचारू रूप से शुरू हो सके। फिर भी जिम्मेदार लोगों द्वारा समस्या के निराकरण की दिशा में कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है।


खतरे से खाली नहीं रात का सफर-

हालात ऐसे हैं कि रात के अंधेरे में सड़क पर सफर करना आसान नहीं, बंद और बिगड़ी सड़क के कनारे बिजली के खंभों की स्ट्रीट और टयूब लाइटों के कारण अंधेरे में सफर करना किसी खतरे से खाली नहीं। बताया गया है कि रात के अंधेरे में कीचड़ और पानी के बीच पैदाल चलना मुश्कल हो गया है। वही वाहन चालक असमय दुर्घटना के शिकार हो रहे हैं।


ग्रामीण कई बार कर चुके है शिकायत, नहीं हुआ समाधान।

जिम्मेदार समय रहते हुए अपनी।जिम्मदेदारी को समझे तो किसको परेशानी का सामना नही करना पड़े मगर अधीकारी तो कुम्भकर्ण की नींद होए है परेशानी तो ग्रमीणों को होना पड़ रहा है प्रधानमंत्री सड़क विभाग द्वारा सड़क तो बना दी मगर नाली नही बनाई जिसे आज ग्रमीणों को परेशानी का मुंह देखना पड़ रहा बताते देगी बच्चों से लेकर बुजुर्गों को भी परेशानीं की समस्या बनी हुई है। उपेक्षा के चलते यह मार्ग वर्तमान में गंदा नाला बनकर रह गया है। लेकिन अधिकारी जनप्रतिनिधि ग्रामीणों की समस्या सुनने को तैयार नहीं है। सड़क पर जलभराव से ग्रामीण परेशान है। आसपास नालियां नहीं बनने से गंदे पानी की निकासी नहीं हो पाती। गांव से आने जाने का मात्र एक रास्ता है इसी मार्ग से लोग बड़ी मशक्कत कर निकलना पड़ता है या खेतों में बनी पगडंडी से आते हैं।लोगो को अक्सर फिसलकर गिरने से चोटिल होते हैं गांव वालों ने बताया कि पानी निकासी नहीं होने से समस्या बरकरार है। कई बार अफसरों से गुहार लगाई गई लेकिन नतीजा कुछ नही है।वही बारिश के दिनों में रोड़ पर 2 से 3 फिट तक पानी आ जाता है जिसे लोगो को निकलना दुस्वार हो जाता है


कोई नेता नही देता ध्यान 

सड़क बनाने के साथ जल निकासी के लिए नाली का निर्माण भी कराया जाए। इसके बाद समस्या खत्म होगी। अफसरों के साथ जनप्रतिनिधि भी इस तरफ ध्यान दें यह समस्या कई साल से लगातार है। प्रतिदिन गंदे पानी में लोग गिरकर चोटिल होते हैं। कपड़े भी खराब हो जाते हैं। लोगों की शिकायत के बाद भी सुनवाई नहीं हुई यह मार्ग तीन गांवों को जोड़ता है। सभी इससे निजात पाने के लिए ग्राम पँचायत अधिकारियों और जन प्रतिनिधियों के चक्कर काट रहे है। लेकिन पांच साल से समस्या जस की तस है। प्रशासन नही कराए व्यवस्था पानी की निकासी का कोई रास्ता नहीं है। जिस कारण इस मार्ग पर जलभराव रहता है, प्रशासन अपने रास्ते से निकासी की व्यवस्था कराए जिसे गामीणो को कुछ राहत मिले इसके कारण तीन गांव के लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है इस मार्ग से क्षेत्र के विधायक व उद्योग मंत्री राजवर्धन सिंह भी कहीं बार निकले मगर उनको भी यह रोड पर गंदा पानी एकत्रित होता हुआ नहीं दिखा जब जनप्रतिनिधि ऐसे अनदेखी करेंगे तो जिम्मेदार अधिकारी कैसे काम करेंगे


कही बार पत्र लिखा

जब प्रधानमंत्री सड़क निर्माण विभाग द्वारा रोड बनाई गई थी जब नाली निर्माण नहीं कराया गया था हमने विभाग को नाली निर्माण के लिए कई बार लेटर लिखे मगर अभी तक निर्माण नही हुआ पचायत के माध्यम से नाली सफाई करवाई जाती है 

नारायण कामदार पूर्व सरपंच सकतली



हर रोज होती दिक्कत

वही ग्रमीण बताते है कि नाली निकासी नहीं होने के कारण हम 5 साल से परेशान हो रहे हैं हमारे मोहल्ले वह मेरे घर के कई सदस्य मच्छरों के कारण कई बार बीमार हो गए हमारे घर के सामने पानी इकट्ठा हो जाने से हमें निकलने में भी काफी परेशानी होती है नाली निर्माण को लेकर जब ग्रामीण से बात की गई तो उन्हें पता ही नहीं कि सचिव शायद खड़ी के है कोई हमने तो कई दिनों से देखा तक नही

कृष्णा सुरलाया ग्रमीण सकतली



पुरा रोड़ पर कीचड़ 

आरईएस विभाग द्वारा रोड बनाई थी जब इस पर डंपर निकले थे जिसके कारण रोड पूरी खराब हो गई थी नाली में मिट्टी चले जाने के कारण पानी निकासी नहीं हो रही है बच्चे बूढ़े सभी लोगों को निकलने में परेशानी हो रही है कई बार जिम्मेदार विभाग को इसकी जानकारी भी दी मगर जिम्मेदार इस ओर झांकने तक नहीं आए वही कई बार शिकायत भी करी मगर कोई सुनवाई नहीं हो रही हर रोज मोहल्ले के लोग नालिया साफ करते हैं फिर भी पानी की निकासी नहीं होने से नाली भर जाती है वह पानी रोड पर आ जाता है

देवीलाल यादव ग्रामीण सकतली 




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